Diwali 2024 Date : दिवाली में करे ऐसे लक्ष्मी पूजन, घर में होगी धनवर्षा, जानें लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त और पूजन सामग्री
Deepavali 2024 ,Time date India :
भारतीय हिंदू कैलेंडर के अनुसार, हर साल दीपावाली का त्योहार कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है. तो आइए जानते हैं दिवाली पर लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री और अमावस्या तिथि के विषय में-
Deepavali 2024, Time in India :
भारतीय हिंदू कैलेंडर के अनुसार, हर साल दीपावाली का त्योहार कार्तिक मास कि अमावस्या तिथि को मनाया जाता है. इस साल दीपावाली 1नवम्बर को पड़ रही है. इस वर्ष दीपावली पर सूर्य ग्रहण का साया है , क्योंकि इस अमावस्या तिथि में सूर्य ग्रहण का सूतक काल प्रारंभ हो रहा है. ऐसी मान्यता है कि दिवाली के दिन माता लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा करने से धन, वैभव और शुभता में वृद्धि होती है. चित्रकूट के ज्योतिषाचार्य से जानते हैं दिवाली पर लक्ष्मी पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री और अमावस्या तिथि के बारे में.
दिवाली 2024 मुहूर्त
हिन्दू पंचांग के अनुसार, इस साल कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या दिवाली 2024 शुभ मुहूर्त: अमावस्या तिथि 1 नवंबर को 2 बजकर 44 मिनट पर प्रारंभ होगी और 2 नवंबर को 02 बजकर 34 मिनट तक रहेगी। दिवाली 2024 लक्ष्मी पूजन मुहूर्त: दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजन मुहूर्त शाम 05 बजकर 39 मिनट से प्रारंभ होकर शाम 07 बजकर 35 मिनट तक रहेगा। पूजन की कुल अवधि 01 घंटा 56 मिनट है।
दिवाली के दिन पर भगवान गणेश, माता लक्ष्मी और कुबेर की पूजा अमावस्या तिथि में रात्रि के समय होती है । इस वजह से को हस्त नक्षत्र के बाद चित्रा नक्षत्र और विष्कुंभ योग में दिवाली पूजन और दीपदान समय शुभ होगा। अतः इस दिन प्रात:काल में चतुर्दशी तिथि होने के कारण सुबह के समय में हनुमान जी की दर्शन करना शुभ फलदायी होगा।
लक्ष्मी पूजा मुहूर्त 2024 :
दिवाली 2024 शुभ मुहूर्त: अमावस्या तिथि 1 नवंबर को 2 बजकर 44 मिनट पर प्रारंभ होगी और 2 नवंबर को 1 बजकर 34 मिनट तक रहेगी। दिवाली 2024 लक्ष्मी पूजन मुहूर्त: दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजन मुहूर्त शाम 05 बजकर 39 मिनट से प्रारंभ होकर शाम 07 बजकर 35 मिनट तक रहेगा। पूजन की कुल अवधि 01 घंटा 56 मिनट है।
दिवाली 2024 लक्ष्मी पूजा सामग्री --
दीपावाली के दिन हम सब माता लक्ष्मी, भगवान गणेश और कुबेर की पूजा करते हैं, इसलिए उनसे संबंधित पूजन सामग्री लेना अति आवश्यक है। इस दिन हमें श्री यंत्र, कुबेर यंत्र का पूजन लाभदायक और उन्नति प्रदान करने वाला माना जाता है।
हमें इस दिन निम्नलिखित सामग्री लेना होता है - लक्ष्मी मूर्ति, गणेश मूर्ति, कुबेर की तस्वीर, लाल वस्त्र, पीले वस्त्र, चौकी, देवी और देवताओं के लिए आसन, चढ़ाने के लिए वस्त्र, अक्षत्, हल्दी, रुई, कमलगट्टा, कमल फूल, लाल गुलाब, लाल फूल, रोली, धनिया, सिंदूर,गंगाजल, शुद्ध घी, नैवेद्य, दही, दूध, फल, शहद ,पान का पत्ता, सुपारी, पंच पल्लव, दूर्वा, कुश, सप्तधान्य,सफेद मिठाई या खीर, बताशा, मोदक, खील, बताशे, अक्षत्, श्री यंत्र, कुबेर यंत्र, चांदी या सोने का सिक्का, नारियल, शंख, कौड़ी, रुई की बत्ती, दीया, इलायची, कुमकुम, चंदन, धूप, दीप, गंध, रक्षासूत्र, केले के पत्ते, कपूर, गुलाल, यज्ञोपवीत, आदि।
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2 टिप्पणियाँ
Pd kr maja aa gya bhai
जवाब देंहटाएंAti sundar jankari
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